आज ब्राह्मणी माता थाने मैं पुकारू,
एकारू आंगनये धर दो पांव,
म्हारो हेलो शांभलो माता ब्राह्मणी।bd।
आवतड़ा जानू तो मैया मारगिया बुआरू,
मारगिये बिछाऊं गुल रा फूल,
मारो हेलो शाभंलो माता ब्राह्मणी।bd।
उठ सवेरा थारी बाट निहारु,
रोजीना उडाऊ काला काग,
मारो हेलो शाभंलो माता ब्राह्मणी।bd।
धूप दीप सू थारी आरतियां उतारू,
चाडू थाने लाडूङा रो भोग,
मारो हेलो शामलो माता ब्राह्मणी।bd।
हाथ जोङेने मइया अर्जी गुजारू,
सुणलो थे तो रमेश री पुकार,
म्हारो हेलो रे सांभलो माता ब्रहामणी।bd।
आज ब्राह्मणी माता थाने मैं पुकारू,
एकारू आंगनये धर दो पांव,
म्हारो हेलो शांभलो माता ब्राह्मणी।bd।
गायक – रमेश सारण बाङमेर
9571547445